ब्रिक्स देशों के समूह में 6 देश- अर्जेंटीना, मिस्र, इथियोपिया, ईरान, सऊदी अरब और संयुक्त अरब अमीरात शामिल हुए हैं, इससे इसका कुनबा बढ़ गया है. दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति रामफोसा 24 अगस्त को कहा कि हमने अर्जेंटीना, मिस्र, इथियोपिया, ईरान, सऊदी अरब और संयुक्त अरब अमीरात को ब्रिक्स का पूर्ण सदस्य बनने के लिए आमंत्रित करने का निर्णय लिया है. उन्होंने कहा कि कि नए सदस्य एक जनवरी 2024 से ब्रिक्स का हिस्सा बन जाएंगे. रामफोसा ने कहा, ”हम ब्रिक्स के साथ साझेदारी बनाने में अन्य देशों के हितों को महत्व देते हैं.”
इससे पहले ब्रिक्स में विस्तार के संबंध में नए सदस्यों के चयन में सर्वसम्मति बनाने में भारत ने अहम भूमिका निभाई. 6 और देशों के इस समूह का हिस्सा बनने को लेकर पीएम मोदी ने कहा, ”मुझे खुशी है कि तीन दिन के विचार-विमर्श से कई सकारात्मक नतीजे निकले.” पीएम मोदी 24 अगस्त तक चलने वाले ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में शामिल होने के लिए दक्षिण अफ्रीका पहुंचे हैं.
समूह के नेताओं की मीडिया ब्रीफिंग में पीएम मोदी ने कहा, ”हमने ब्रिक्स के विस्तार के लिए महत्वपूर्ण निर्णय लिया है.” उन्होंने कहा, ”भारत ने हमेशा ब्रिक्स के विस्तार का पूरा समर्थन किया है, उसका मानना है कि नए सदस्यों के जुड़ने से समूह और मजबूत होगा.”
पीएम मोदी ने कहा कि ब्रिक्स के विस्तार का निर्णय बहुध्रुवीय दुनिया में कई देशों के विश्वास को और मजबूत करेगा. उन्होंने कहा, ”मुझे खुशी है कि हमारी टीम ब्रिक्स के विस्तार के लिए मार्गदर्शक सिद्धांतों, मानकों, मानदंडों, प्रक्रियाओं पर एक साथ सहमत हुई हैं.” उन्होंने कहा कि इन सभी देशों के साथ भारत के बहुत गहरे और ऐतिहासिक संबंध रहे हैं.
ब्रिक्स यानी पांच विकासशील देशों ब्राजील, रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका का समूह है जो विश्व की 41 प्रतिशत आबादी, 24 प्रतिशत वैश्विक जीडीपी और 16 प्रतिशत वैश्विक कारोबार का प्रतिनिधित्व करता है. अब चूंकि अर्जेंटीना, मिस्र, इथियोपिया, ईरान, सऊदी अरब और संयुक्त अरब अमीरात औपचारिक तौर पर 1 जनवरी 2024 से इस समूह का हिस्सा बन जाएंगे तो समूह में शामिल देशों की संख्या में इजाफा हो जाएगा. इसका मतलब है कि ब्रिक्स का कुनबा बढ़ गया है.
इससे पहले सोमवार (21 अगस्त) को विदेश सचिव विनय क्वात्रा ने कहा था कि विभिन्न देश इस गुट में शामिल होने के इच्छुक हैं. क्वात्रा ने कहा था कि 23 देशों ने ब्रिक्स में शामिल होने के लिए अर्जियां दी हैं. ईरान, सऊदी अरब, संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) और अर्जेंटीना समूह की सदस्यता के लिए मजबूत दावेदार के तौर पर उभरे हैं. उन्होंने दिल्ली में सोमवार को मीडिया से कहा था,‘‘ ब्रिक्स में विस्तार पर हमारा रवैया सकारात्मक है.”