देश के नंबर एक बैडमिंटन खिलाड़ी लक्ष्य सेन के खिलाफ बेंगलुरु में एफआईआर दर्ज की गई है. उन पर अपनी उम्र में हेराफेरी करने का आरोप है. एफआईआर में उनकी अकादमी (प्रकाश पादुकोण अकादमी) के कोच विमल कुमार, पिता धीरेंद्र सेन, मां निर्मला और भाई चिराग का नाम शामिल है.
चिराग भी बैडमिंटन खिलाड़ी हैं. लक्ष्य ने इसी साल बर्मिंघम में हुए कॉमनवेल्थ गेम्स में गोल्ड मेडल जीता था. उन्हें बीते 30 नवंबर को राष्ट्रपति भवन में अर्जुन अवॉर्ड से सम्मानित भी किया गया था.
एक अंग्रेजी अखबार की रिपोर्ट के मुताबिक, बेंगलुरु में ही बैडमिंटन अकादमी चला रहे नगराजा एमजी की शिकायत के बाद केस दर्ज हुआ है. शिकायत में नागराजा का कहना है कि 2010 में लक्ष्य के कोच और उनके माता-पिता ने फर्जी बर्थ सर्टिफिकेट बनवाया था.
इस कारण लक्ष्य उम्र ज्यादा होने के बावजूद अलग-अलग एज ग्रुप में खेल पाए. बर्थ सर्टिफिकेट के मुताबिक, लक्ष्य सेन का जन्म 2001 में हुआ जबकि नागराजा का कहना है कि वह 1998 में पैदा हुए है. केस में आईपीसी की धारा 420 (चीटिंग), 468 (फर्जीवाड़ा) और 471 (फर्जी रिकॉर्ड) शामिल है. पुलिस फिलहाल मामले की जांच कर रही है.
लक्ष्य सेन पुरुष सिंगल्स में विश्व के छठे नंबर के खिलाड़ी हैं. उन्होंने पिछले 2 सालों में देश के लिए हर बड़े टूर्नामेंट में मेडल जीते हैं. विश्व बैडमिंटन महासंघ के अनुसार, 16 अगस्त 2001 को जन्मे लक्ष्य की आयु अभी 21 साल है. वहीं, स्टार शटलर के कोच विमल कुमार ने आरोपों को खारिज किया है.
उनका कहना है कि मैं नहीं जानता कि शिकायत करने वाले ने क्या आरोप लगाए हैं? मेरी इसमें कोई भूमिका नहीं है. लक्ष्य 2010 में मेरी अकादमी में आया और मैंने उसे बाकी बच्चों की तरह ही ट्रेन किया. कोई क्या कहता है इससे हम पर फर्क नहीं पड़ता.