मध्य प्रदेश कांग्रेस में 16 दिसंबर को बड़ा बदलाव हुआ और पूर्व विधायक जीतू पटवारी को मध्य प्रदेश कांग्रेस का अध्यक्ष बना दिया गया. जीतू पटवारी के अध्यक्ष बनने के बाद अब कांग्रेस के पुराने नेता और कांग्रेस छोड़ चुके नेता इस फैसले की तारीफ कर रहे हैं. इस मामले में पूर्व सांसद प्रेमचंद गुड्डू ने कहा कि अगर यह फैसला पहले ले लिया होता तो कांग्रेस की आज ऐसी हालत नहीं होती, जैसी आज है.
प्रेमचंद गुड्डू ने सोशल मीडिया पर मध्य प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष पद से कमलनाथ को हटाने और जीतू पटवारी को प्रदेश अध्यक्ष बनाए जाने पर कांग्रेस आलाकमान के फैसले का स्वागत किया है. गुड्डू ने कहा कि यह फैसला अगर एक साल पहले ले लिया गया होता तो शायद मध्य प्रदेश में कांग्रेस को शर्मनाक हार का सामना नहीं करना पड़ता.
गुड्डू ने कहा कि मैं विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस छोड़ चुका हूं, लेकिन मुझे इस बात की खुशी है कि जो बात मैं कांग्रेस को केंद्रीय नेतृत्व को पिछले एक साल से कहता आ रहा था. वह अब कांग्रेस आलाकमान की समझ में आ गई है.
प्रेमचंद गुड्डू ने कहा कि कमलनाथ के अहंकार और नाकारापन के चलते ही पिछले विधानसभा चुनाव में भी बीजेपी विरोधी माहौल का पूरा फायदा उठाने में कांग्रेस असफल रही थी. हालांकि, उस समय जैसे-तैसे पार्टी की सरकार बन गई थी, लेकिन कमलनाथ के अहंकारी रवैये ने ही पार्टी में बगावत के हालात पैदा किए और सवा साल में ही कांग्रेस की सरकार गिर गई.
उसके बाद लोकसभा चुनाव में भी कांग्रेस को कमलनाथ और उनके धंधेबाज सलाहकारों की वजह से शर्मनाक हार का सामना करना पड़ा था. इसके बावजूद पता नहीं किन कारणों से कांग्रेस आलाकमान ने कमलनाथ को ही प्रदेशाध्यक्ष बनाए रखा.
गुड्डू ने आगे कहा कि उनके अध्यक्ष रहते पूरे प्रदेश में कांग्रेस का संगठन पूरी तरह चौपट हो गया. कमलनाथ ने प्रदेश में दलित, आदिवासी और पिछ़ड़ा वर्ग के जनाधार वाले नेताओं को हर समय अपमानित किया और उन्हें घर बैठने या पार्टी छोड़ने पर मजबूर किया. हाल के विधानसभा चुनाव में भी उन्होंने पार्टी के जमीनी नेताओं की अनदेखी कर धंधेबाजों और दलालों को टिकट दिए और बेचे. यही वजह रही कि प्रदेश में बीजेपी विरोधी लहर होते हुए भी कांग्रेस उसका फायदा नहीं उठा सकी और बुरी तरह हार गई.
गुड्डू ने कमलनाथ की जगह जीतू पटवारी को प्रदेश कांग्रेस का अध्यक्ष और उमंग सिंघार को विधायक दल का नेता बनाए जाने का स्वागत करते हुए उम्मीद जताई है कि उनके नेतृत्व में कांग्रेस प्रदेश में अपना खोया हुआ जनाधार फिर हासिल करने में कामयाब होगी.