दिल्ली में एक बार फिर से राष्ट्रपति शासन लागू करने की मांग उठने लगी है. इसे लेकर बीजेपी विधायकों ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मुलाकात की. इस दौरान बीजेपी नेताओं ने राष्ट्रपति को एक ज्ञापन सौंपा. जिसमें उन्होंने केजरीवाल सरकार को बर्खास्त करने की मांग की. अब इस इस पत्र पर राष्ट्रपति सचिवालय ने संज्ञान लिया है. बता दें कि बीजेपी संवैधानिक संकट का हवाला देते हुए दिल्ली सरकार को बर्खास्त करने की मांग की है.
राष्ट्रपति को दी गई इस चिट्ठी में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के जेल में होने का भी हवाला दिया गया है. इस पत्र को राष्ट्रपति कार्यालय ने केंद्रीय गृह मंत्रालय को भेज दिया है. इसके साथ ही राजनीतिक गलियारों में इस बात की सुगबुगाहट होने ली है कि राजधानी दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लग सकता है. राष्ट्रपति सचिवालय की ओर से बीजेपी विधायकों के ज्ञापन को केंद्रीय गृह मंत्रालय को भेजे जाने के बाद इन संभावनाओं को और बढ़ा दिया है.
बता दें कि बीजेपी विधायकों ने दिल्ली सरकार को बर्खास्त करने की मांग को लेकर 30 अगस्त को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मुलाकात की थी. इस दौरान उन्होंने राष्ट्रपति को एक ज्ञापन भी सौंपा था. बीजेपी नेता विजेंद्र गुप्ता की अगुवाई में बीजेपी विधायकों ने दिल्ली सरकार को बर्खास्त करने की मांग उठाई थी. तब विजेंद्र गुप्ता ने कहा कि हर बारिश में दिल्ली जलमग्न हो जाती है, आयुष्मान भारत योजना दिल्ली में लागू नहीं हुई है, हजारों करोड़ रुपये का फंड बंद हो गया है. सीएम केजरीवाल जेल में बंद हैं और सरकार काम नहीं कर रही है. इसलिए हम हम राष्ट्रपति से दिल्ली की सरकार को बर्खास्त करने की मांग करते हैं. जिससे दिल्ली की जनता के लाभ के लिए सरकार का कामकाज और विकास को बहाल किया जा सके.
बता दें कि बीजेपी नेता विजेंद्र गुप्ता ने पार्टी के विधायकों और पूर्व आम आदमी पार्टी विधायकों और मंत्री राज कुमार आनंद के साथ राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मुलाकात की थी. इस दौरान उन्होंने कहा कि, “अरविंद केजरीवाल ने दिल्लीवासियों का जीना दुश्वार कर दिया है, क्योंकि कोई भी सरकारी विभाग कारगर ढंग से काम नहीं कर रहा है. दिल्ली जल बोर्ड कर्ज में डूबा हुआ है, सड़कें खस्ताहाल हैं, घोटाले पर घोटाले हो रहे हैं. सलाखों के पीछे होने के बावजूद सत्ता में बने रहने के लालच ने दिल्ली में कई समस्याएं पैदा कर दी हैं.”