लखनऊ| उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव में पूर्ण बहुमत हासिल करने वाली भारतीय जनता पार्टी के विधायक दल की बैठक 24 मार्च को आहूत की गयी है, जिसमें कार्यवाहक मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को विधायक दल का नेता चुना जाना तय है.
पार्टी सूत्रों के अनुसार 24 मार्च को नवनिर्वाचित विधायकों की बैठक यहां स्थित लोक भवन में बुलायी गयी है. उत्तर प्रदेश की सत्ता में भाजपा की ताजपोशी की कवायद को पूरा कराने के लिये पार्टी के शीर्ष नेतृत्व ने केन्द्रीय पर्यवेक्षक के रूप में गृह मंत्री अमित शाह और सह पर्यवेक्षक के रूप में झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास को नामित किया है. शाह और दास भी 24 मार्च को विधायक दल की बैठक में उपस्थित रहेंगे. गौरतलब है कि भाजपा ने चुनाव से पहले ही योगी को मुख्यमंत्री पद का दावेदार घोषित कर दिया था.
प्राप्त जानकारी के मुताबिक 24 मार्च को विधायक दल की बैठक से पहले ही योगी, उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल से मुलाकात कर भाजपा की ओर से सरकार बनाने का दावा पेश करेंगे. राज्यपाल द्वारा सरकार के गठन का आमंत्रण मिलने के बाद 25 मार्च को नवगठित योगी मंत्रिमंडल का शपथ ग्रहण समारोह होगा.
इस समारोह के लिये यहां स्थित अटल बिहारी वाजपेयी एकाना स्टेडियम में तैयारियां जोरों पर चल रही हैं. गौरतलब है कि भाजपा की अगुवाई वाले गठबंधन ने 403 सदस्यों वाली विधानसभा के चुनाव में 273 सीट जीती हैं. इनमें भाजपा ने अकेले 255 सीट जीत कर बहुमत का आंकड़ा पार कर लिया.
उत्तर प्रदेश में 37 साल बाद किसी दल की लगातार दूसरी बार सरकार बनने जा रही है. इतना ही नहीं, मुख्यमंत्री पद पर रहते हुए खुद विधानसभा चुनाव लड़कर पार्टी एवं अपनी जीत सुनिश्चित करने वाले योगी, उत्तर प्रदेश के पहले मुख्यमंत्री होंगे. योगी ने गोरखपुर सदर सीट पर जीत दर्ज की है. इससे पहले 2007 में तत्कालीन मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव ने विधानसभा चुनाव में खुद अपनी सीट तो जीत गये थे, लेकिन उनकी अगुवाई वाली समाजवादी पार्टी चुनाव हार गयी थी.
बतौर मुख्यमंत्री, योगी ने अपना पहला कार्यकाल विधान परिषद सदस्य के रूप में पूरा किया. उन्होंने सोमवार को विधान परिषद के सदस्य के रूप में त्याग पत्र दे दिया. वह मुख्यमंत्री बनने के बाद 08 सितंबर 2017 को विधान परिषद के सदस्य चुने गये थे.