दुनियाभर में कोरोना को फैले हुए डेढ़ साल हो गया है. लेकिन अभी तक इस बात का खुलासा नही हो सका की ये वायरस कहा से फैला. चीन भले ही खुद को कितना भी पाक-साफ बताने की कोशिश करे लेकिन इस महामारी के फैलाव की कड़ियां कहीं न कहीं उसके वुहान स्थित प्रयोगशाला से जुड़ जाती हैं.
एक और रिपोर्ट सामने आई है जिसमें कोरोना संक्रमण के फैलाव पर वुहान विरालजी संस्थान की भूमिका पर सवाल खड़े हुए हैं. एक अमेरिकी खुफिया रिपोर्ट का हवला देते हुए वॉल स्ट्रीट जनरल ने चौंकाने वाला खुलासा किया है. रिपोर्ट में कहा गया है कि कोरोना महामारी के सामने आने से पहले इस लैब के तीन शोधकर्ता इलाज के लिए नवंबर 2109 में अस्पताल आए थे.
इस रिपोर्ट में लैब में बीमार पड़ने वाले शोधकर्ताओं की संख्या, उनके बीमार पड़ने के समय और उन्होंने कितनी बार अस्पताल आना पड़ा, इसका ब्योरा दिया गया है. इस रिपोर्ट के सामने आने के बाद इस थियरी को ज्यादा बल मिलने लगा है कि वुहान की इस प्रयोगशाली से वायरस की उत्पति हुई. कई अंतरराष्ट्रीय रिपोर्टों में आरोप लगाया गया है कि चीन दुनिया से चोरी-छिपे अपने इस अस्पताल में वायरस पर टेस्ट कर रहा था और इसी दौरान गलती से यह वायरस लीक हो गया.
हालांकि, इन आरोपों से चीन ने हमेशा इंकार किया है. चीन का कहना है कि वह इस वायरस का खुद भुक्त-भोगी रहा है और उसने समय रहते वायरस की जानकारी दुनिया को दी. हालांकि, दुनिया के देश इसके इस दावे को हमेशा संदेह की दृष्टि से देखते आए हैं. कोरोना महामारी के फैलाव के लिए अमेरिका सीधे तौर पर चीन को जिम्मेदार मानता आया है.
खास बात यह है कि यह रिपोर्ट ऐसे समय सामने आई है जब विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) वायरस की उत्पत्ति को लेकर अगले चरण की जांच पर चर्चा करने के लिए बैठक कर रहा है. रिपोर्ट के मुताबिक राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की एक प्रवक्ता ने जर्नल की रिपोर्ट पर टिप्पणी करने से तो इंकार किया लेकिन उन्होंने कहा कि वायरस के चीन में पैदा होने सहित कोरोना महामारी के सबसे शुरुआती समय को लेकर बाइडेन प्रशासन के पास ‘गंभीर प्रश्न’ हैं.
प्रवक्ता ने कहा कि वायरस की उत्पत्ति जानने के लिए अमेरिकी प्रशासन डब्ल्यूएचओ और अन्य देशों के साथ मिलकर काम कर रहा है. अमेरिका महामारी के उत्पत्ति पर विशेषज्ञों की राय चाहता है जो कि किसी दखल या राजनीति से परे हो. डब्ल्यूएचओ की एक टीम कोरोना की उत्पत्ति पर जांच कर रही है.
विशेषज्ञों की एक टीम कुछ समय पहले वुहान स्थित उस मीट मार्केट का दौरा किया जहां इस महामारी की उत्पत्ति की मानी जाती है. चीन ने इस टीम का सहयोग करने की बात कही है लेकिन उसने महामारी से जुड़ा अपना शुरुआती डाटा साझा करने से इंकार कर दिया.