केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने राज्यसभा में आपराधिक प्रक्रिया (पहचान) विधेयक 2022 पेश किया. विधेयक आपराधिक मामलों में पहचान और जांच के उद्देश्य से दोषियों और अन्य व्यक्तियों के बायोमेट्रिक विवरण एकत्र करने और रिकॉर्ड को संरक्षित करने के लिए अधिकृत करने का प्रयास करता है. बिल राज्यसभा से पारित हो गया है. लोकसभा ने सोमवार, 4 अप्रैल को विधेयक पारित किया था.
विधेयक पर अमित शाह ने कहा कि विधेयक का उद्देश्य अभियोजन एजेंसियों को वैज्ञानिक साक्ष्य उपलब्ध कराने के साथ-साथ पुलिस, फोरेंसिक टीम की क्षमता निर्माण करना है. व्यवस्था ऐसी है कि यह नागरिकों की गोपनीयता को जोखिम में नहीं डालती है.
हमारा कानून अन्य देशों की तुलना में सख्ती के मामले में ‘बच्चा’ (कुछ नहीं) है. दक्षिण अफ्रीका, ब्रिटेन, ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, अमेरिका जैसे देशों में अधिक कड़े कानून हैं, यही वजह है कि उनकी सजा की दर बेहतर है. वहां पर दोष सिद्धी इसलिए ज्यादा है क्योंकि वहां जांच एजेंसियों को वैज्ञानिक तरीके से जांच करने का अधिकार मिला हुआ है.