दुनिया भर में टेस्ला कार ऑटोपायलट की वजह से बहुत प्रसिद्द है. लेकिन कंपनी ने अब कुछ चुनिंदा कस्टमर के लिए फुल सेल्फ ड्राइविंग मोड भी रोल आउट कर दिया है. टेस्ला के सीईओ एलोन मस्क ने मंगलवार को ट्वीट कर इस बात की जानकारी दी.
मस्क ने कहा कि टेस्ला ने इस सप्ताह कुछ चुनिंदा ग्राहकों को पहला “सेल्फ ड्राइविंग मोड” बीटा सॉफ़्टवेयर अपडेट भेजा है, इसे साल के अंत तक रिलीज कर दिया जाएगा.
टेस्ला के ‘अर्ली ऐक्सेस प्रोग्राम’ के तहत केवल उन ग्राहकों को सॉफ्टवेयर अपडेट प्राप्त होगा, जो ड्राइवर शहर की सड़कों पर ऑटोपायलट मोड में गाड़ी चलाने में सक्षम हैं.
शुरुआती एक्सेस प्रोग्राम का इस्तेमाल टेस्टिंग प्लेटफॉर्म के रूप में किया जाता है ताकि सॉफ्टवेयर बग्स को ट्रैक किया जा सके. मस्क ने कहा कि टेस्ला इस सॉफ़्टवेयर अपडेट के लिए बहुत सावधानी बरत रहा है.
टेस्ला कारों के सीईओ एलोन मस्क ने ऑटोपायलट मोड को एक सुरक्षित ड्राइविंग विकल्प होने का दावा किया है. उनका कहना है कि टेक्नोलॉजी उन घटनाओं को रोक सकती है जो व्यक्ति के कारण होती हैं.
लेकिन गाड़ी सेल्फ ड्राइविंग मोड़ पर होने के बाद भी सेफ्टी के लिए ड्राइवर के हाथ स्टीयरिंग पर होने चाहिए. ऑटोपायलट कार के स्टीयरिंग, एक्सीलरेट तथा ब्रेक ऑटोमेटिक तरीके से चल सकते हैं, यह सिर्फ लेन पर चलती है. लेकिन बिना किसी व्यक्ति के ट्रिप को इनेबिल नहीं किया जा सकता है.
अमेरिका की इलेक्ट्रिक कार बनाने वाली कंपनी Tesla साल 2021 में भारत में कदम रखेगी. मस्क ने ट्विटर पर एक पोस्ट के जवाब में इस बात की ओर इशारा किया.
पोस्ट में एक टी शर्ट पर मैसेज लिखा था कि “India wants Tesla”. इसके जवाब में मस्क ने लिखा कि निश्चित तौर पर अगले साल. टेस्ला ऐसे समय भारत में एंट्री कर सकती है जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार देश में इलेक्ट्रिक वाहनों के इस्तेमाल पर जोर दे रही है.
FSD beta rollout happening tonight. Will be extremely slow & cautious, as it should.
— Elon Musk (@elonmusk) October 20, 2020