नई दिल्ली| पीएम नरेंद्र मोदी इंडिया-इटली वर्चुअल समिट के दौरान कहा कि कोरोना महामारी को लेकर अलग अलग देशों में शोध जारी है. लेकिन इस वायरस की प्रकृति को लेकर साफ तौर कर कोई भी कुछ कह पाने की स्थिति में नहीं है.
उन्हें उम्मीद है कि आने वाले समय में दुनिया इस महामारी के चक्र से बाहर निकल जाएगी. लेकिन सबसे पहले इटली में जिन लोगों ने अपनी जान कोरोना की वजह से गंवाई उनके प्रति संवेदना व्यक्त करते हैं. वो समझते हैं कि इस वायरस की वजह से इटलीवासियों को कितनी दिक्कत का सामना करना पड़ा है.
पीएम मोदी ने कहा यह जानकर अच्छा लगा कि इटली जिस पर कोरोना कहर बनकर टूट पड़ा था उसने खुद को तेजी से संभाल लिया. यही नहीं इटली के पीएम गुसेप कोंटे ने जिस तरह से पूरे देश को बांधे रखा वो अपने आप में काबिले तारीफ है.
पीएम मोदी ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि कोरोना की वजह से हालात में जैसे ही सुधार आएगा वो इटली के सांसदों का भारत की संसद में स्वागत कर सकेंगे.
कोरोना महामारी इतिहास में एक विभाजक क्षण के तौर पर याद किया जाएगा जिस तरह से दुनिया को हम प्री वर्ल्ड वार 2 और पोस्ट वर्ल्ड वार 2 के तौर पर देखते हैं. हम सबको कोरोना के बाद के हालात के हिसाब से ढालना होगा.
हमें कोरोना की वजह से उत्पन्न चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा. उन्होंने कहा कि यह सच है कि इस तरह की आपदा से तरह तरह की मुश्किलों का सामना करना पड़ा.
लेकिन दूसरा पक्ष यह भी है कि हमने इसमें अवसर भी खोजा. भारत का उदाहरण देते हुए कहा कि कोरोना से पहले देश में पीपीई किट नहीं बनते थे. लेकिन आज हम आत्मनिर्भर हैं.