काठमांडू|…. पाकिस्तान की आतंकवाद पर लगाम लगाने की ढीलीढाली रणनीतियों की आलोचना दुनिया भर के मंचों से होती रही है.
इस मुद्दे पर पाकिस्तान की कान नेपाल ने भी खींचनी शुरू कर दी है.
संयुक्त राष्ट्र के मंच पर पहले भारत ने पाकिस्तान की आतंक रोकने की रणनीतियों की आलोचना की.
इसके बाद नेपाल की जब बोलने की बारी आई तब वहां प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली ने भारत के आतंकवाद को रोकने के प्रयासों की सराहना की तो वहीं दूसरी ओर पाकिस्तान को जमकर लताड़ा.
कोरोना महामारी के चलते संयुक्त राष्ट्र की बैठक में सभी देशों के वक्ता वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए अपनी बात कर रहे हैं. ओली ने भी अपनी बात वीसी के जरिये ही कही.
ओली ने अपने वीडियो संदेश में कहा कि नेपाल, देश की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता की रक्षा करने के लिए और पड़ोसी देशों और दुनिया के दूसरे सभी देशों के साथ सौहार्दपूर्ण संबंध कायम रखने के लिए प्रतिबद्ध है.
ओली ने शुक्रवार को संयुक्त राष्ट्र की एक उच्च-स्तरीय बैठक में भारत का साथ देते हुए पाकिस्तान को सभी देशों के सामने जमकर लताड़ा.
इसके साथ ही नेपाल के पीएम ने अंतरराष्ट्रीय आतंकवाद पर व्यापक सहमति (सीसीआईटी) अपनाने का आह्वान किया.
गौरतलब है कि सीसीआईटी का प्रस्ताव वर्ष 1996 में भारत ने ही रखा था, लेकिन इसको परिभाषित करने के मुद्दे पर मतभेद उभर आए थे, जिसके बाद से ये कभी आगे नहीं बढ़ सका है.
पीएम ओली ने कहा कि नेपाल आतंकवाद के सभी रूपों की कड़ी आलोचना करता है.
आतंकवाद के मुद्दे पर सभी देशों को जल्द से जल्द एक व्यापक सहमति बनाई जानी चाहिए.
उन्होंने कहा कि आतंकवाद को समर्थन प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से समर्थन देने वाले देशों का हम पुरजोर विरोध करते हैं.
आतंकी गतिविधियों के चलते हर साल सैकड़ों निर्दोष लोगों की मौत हो जाती है.
इस घृणित और अमानवीय कृत्य की नेपाल कड़ी निंदा करता है.
नेपाल के इस बयान से चीन और पाकिस्तान दोनों ही देश सकते में हैं.
साभार-न्यूज़ 18