लद्दाख के पूर्वी सेक्टर में तनाव के बीच वायुसेना प्रमुख ने बड़ा बयान दिया है. भविष्य में होने वाले किसी भी संघर्ष में वायुशक्ति हमारी जीत में अहम कारक रहेगी.
चिनूक, अपाचे और अन्य विमानों के बेड़े के साथ राफेल लड़ाकू विमानों के आने से वायुसेना को मजबूत रणनीतिक क्षमता हासिल हुई.हमारे सुरक्षा बल किसी भी संभावित चुनौती का सामना करने के लिये पूरी तरह तैयार.
वायुसेना किसी भी दुस्साहस का जवाब देने के लिए पूरी तरह संकल्पित. हमारी उत्तरी सीमा पर मौजूदा सुरक्षा परिदृश्य असहज, न युद्ध न शांति की स्थिति है.
वायुसेना प्रमुख ने कहा कि आज के समय में वायुशक्ति का मजबूत होना बेहद जरूरी है. खुशी की बात यह है कि पिछले कुछ वर्षों में हमने अपनी शक्ति में इजाफा किया है.
चीन के बारे में बोलते हुए कहा कि लद्दाख के पूर्वी सेक्टर में चीन की तरफ से जानबूझकर विवाद पैदा किया जा रहा है.
चीनी पक्ष एक सोच के जरिए अपनी बात कहती है. लेकिन जो तथ्य सामने हैं उसे कैसे नजरंदाज किया जाएगा. भारतीय फौज देश की सुरक्षा के लिए जीजान से जुटी हुई है.
वो हर किसी को भरोसा दिलाना चाहते हैं कि भारतीय वायुसेना किसी भी देश की नापाक हरकत का मुंहतोड़ जवाब देने के लिए तैयार है.
बता दें कि हाल ही में दोनों देशों के बीच सैन्य स्तर की बड़ी बातचीत हुई थी जिसमें यह कहा गया कि एलएसी पर विवाद किसी के हित में नहीं है. चीन की तरफ से भी सकारात्मक संदेश आया.
लेकिन अक्सर यह देखा गया है कि चीन अपने वादों पर खरा नहीं उतरता है. जानकार कहते हैं कि चीन ने इस दफा कोशिश की वो भारतीय इलाकों में दाखिल हो जाएगा.
लेकिन जिस तरह से फिंगर एरिया से लगी चोटियों पर भारत ने कब्जा किया है उसके बाद चीन की चिंता बढ़ गई है.