दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन के खिलाफ ईडी बार-बार नोटिस भेज कर पूछताछ के लिए बुला रही है, लेकिन दोनों मुख्यमंत्री इसे गंभीरतापूर्वक नहीं ले रहे हैं. इस बीच झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने विधायक दल की बैठक बुलाई गई थी. बैठक में फैसला लिया गया है कि हेमंत सोरेन मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा नहीं देंगे. वो पद पड़ ही बने रहेंगे.
रांची में आयोजित बैठक में गठबंधन दलों के विधायक पहुंचे. इसमें झारखंड मुक्ति मोर्चा के 26 विधायक, कांग्रेस के 15 विधायक शामिल हुए. सीएम सोरेन पर जमीन घोटाला, फर्जी दस्तावेज पर जमीन स्कैम, खदान लीज स्कैम समेत खनन घोटाले के आरोप हैं. प्रवर्तन निदेशालय ईडी इन सभी मामलों की जांच कर रही है.
81 विधानसभा सीटों में झारखंड मुक्ति मोर्चा की 29 सीटें, कांग्रेस की 17 और राजद की 1 सीट हैं. कुल 48 सीटों के साथ झामूमो, कांग्रेस और राजद की गठबंधन सरकार चल रही हैं, लेकिन जमीन घोटाला की जांच कर रही ईडी ने सोरेन को समन जारी किया है.
बताया जा रहा है कि विधायक दल की बैठक में प्रवर्तन निदेशालय ईडी की ओर से बार-बार भेजे जा रहे समन पर चर्चा होगी. इसके अलावा यह भी बताया जा रहा है कि अगर ईडी सोरेन को गिरफ्तार करती है तो वो अपनी पत्नी कल्पना सोरेन को नई मुख्यमंत्री बना सकते हैं. बता दें कि प्रवर्तन निदेशालय हेमंत सोरेन के खिलाफ जांच कर रही है. जांच एजेंसी अभी तक 6 बार सोरेन को समन भेज चुकी है, लेकिन सोरेन एक बार भी पेश नहीं हुए हैं.
ऐसे में ईडी आगे की कार्रवाई के लिए कानूनी सलाह भी ले रही है. बता दें कि कल्पना सोरेन अभी सक्रिय राजनीति में प्रवेश नहीं की हैं, लेकिन झारखंड के गांडे सीट को खाली करवा लिया गया है. 31 दिसंबर को गांडे विधानसभा सीट से आने वाले विधायक ने अचानक से इस्तीफा दे दिया था. इसके बाद से राज्य का सियासी तापमान बढ़ गया. सियासी गलियारों में इसकी चर्चा होने लगी कि हेमंत सोरेन अगर इस्तीफा देते हैं तो अपनी पत्नी कल्पना सोरेन को मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बैठा सकते हैं.