धर्मगुरु कालीचरण की गिरफ्तारी के बाद मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ की सरकारें आपस में भिड़ गईं हैं. दोनों राज्य सरकारों के बीच आरोप-प्रत्यारोप शुरू हो गए हैं. एमपी के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कालीचरण की गिरफ्तारी पर एतराज जताया है तो छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कालीचरण की गिरफ्तारी नियम के अनुसार ही की गई है.
बता दें कि रायपुर पुलिस ने धर्मगुरु कालीचरण को गुरुवार सुबह खजुराहो से 25 किलोमीटर दूर बागेश्वर धाम स्थित एक मकान से गिरफ्तार किया. जिसके बाद मध्य प्रदेश के गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कालीचरण की गिरफ्तारी पर एतराज जताया है.
नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि ये राज्यों की पुलिस के प्रोटोकाल का उल्लंघन है. अगर कालीचरण को नोटिस देते तो वो पेश हो जाते. वहीं दूसरी ओर नरोत्तम मिश्रा के इस बयान पर छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आपत्ति जताई है. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने बताया कि छत्तीसगढ़ पुलिस ने कालीचरण महाराज के परिवार और वकील को इस गिरफ्तारी के संबंध में जानकारी दे दी है. 24 घंटे के भीतर उसे अदालत में पेश किया जाएगा.
सीएम ने आगे कहा कि एमपी के गृहमंत्री और भाजपा नेता नरोत्तम मिश्रा को बताना चाहिए कि वो ऐसे शख्स की गिरफ्तारी से खुश है या दुखी, जिसने महात्मा गांधी का अपमान किया. छत्तीसगढ़ पुलिस ने किसी भी नियम का उल्लंघन नहीं किया है और गिरफ्तारी प्रक्रिया के अनुसार ही की गई है. बता दें कि छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में हुई धर्म संसद के समापन के दिन शनिवार को महाराष्ट्र से आए कालीचरण ने मंच से महात्मा गांधी के बारे में गलत बातें कहीं.
उन्होंने कहा कि इस्लाम का मकसद राजनीति के जरिए राष्ट्र पर कब्जा करना है. साल 1947 में हमने अपनी आंखों से देखा कि कैसे पाकिस्तान और बांग्लादेश पर कब्जा किया गया. मोहनदास करमचंद गांधी ने उस वक्त देश का सत्यानाश किया.
नमस्कार है नाथूराम गोडसे को, जिन्होंने उन्हें मार दिया. इसके बाद छत्तीसगढ़ सरकार ने रविवार को धर्मगुरु कालीचरण के खिलाफ रायगढ़ में केस दर्ज करवाया था.