बीजिंग|…. चीन ने बुधवार को कहा कि वह राष्ट्रीय सुरक्षा के नाम पर 43 चीनी मोबाइल ऐप पर पाबंदी लगाने के भारत के निर्णय का पुरजोर विरोध करता है. चीन ने दावा किया कि यह कदम विश्व व्यापार संगठन के नियमों के खिलाफ है.
चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने जताई चिंता
भारत के ताजा कदम के बारे में पूछे जाने पर चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजिआन ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में इसको लेकर गंभीर चिंता जताई. उन्होंने कहा, ”इस साल जून से अबतक चार बार भारत ने राष्ट्रीय सुरक्षा के नाम पर चीन से जुड़े स्मार्टफोन ऐप पर पाबंदी लगाई है.
WTO के नियमों के खिलाफ
प्रवक्ता ने कहा, ”ये कदम बाजार सिंद्धातों और विश्व व्यापार संगठन के नियमों के खिलाफ है. इसमें चीनी कंपनियों के हितों और वैध अधिकारों की अनदेखी की गई. झाओ ने कहा कि चीन सरकार हमेशा अपनी कंपनियों से दूसरे देशों में काम करते समय अंतरराष्ट्रीय नियमों और स्थानीय कानून का पालन करने के लिये कहती है. उन्होंने कहा कि चीन और भारत का आर्थिक तथा व्यापार सहयोग दोनों देशों के लिए लाभदायक है. प्रवक्ता ने कहा, ”हम भारतीय पक्ष से इस भेदभावपूर्ण रुख में तत्काल सुधार लाने और आगे द्विपक्षीय सहयोग को नुकसान पहुंचाने वाले कदम से बचने का आग्रह करते हैं.”
भारत ने मंगलवार को अलीबाबा ग्रुप होल्डिंग की ई-वाणिज्य ऐप अलीएक्सप्रेस समेत 43 और चीनी ऐप पर पाबंदी लगा दी. चीन के साथ सीमा पर गतिरोध के बीच यह कदम उठाया गया है. नई दिल्ली में जारी में आधिकारिक बयान के अनुसार ये ऐप देश की संप्रभुता और अखंडता के लिए खतरा थे. इसको देखते हुए पाबंदी लगाई गई है. जिन ऐप पर बैन लगाया गया है, उसमें कुछ डेटिंग ऐप शामिल हैं.
बयान के अनुसार इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्रालय ने भारत में उपयोगकर्ताओं तक इन ऐप की पहुंच पर पाबंदी लगाने का आदेश जारी किया है. केंद्रीय गृह मंत्रालय के भारतीय साइबर अपराध समन्वय केंद्र से इस संदर्भ में मिली विस्तृत रिपोर्ट के बाद यह आदेश जारी किया गया है.
29 जून को 59 मोबाइल ऐप पर लगा था बैन
इससे पहले, सरकार ने सूचना प्रौद्योगिकी कानून 69ए के तहत 29 जून को 59 मोबाइल ऐप और 2 सितंबर, 2020 को 118 ऐप पर प्रतिबंध लगा दिया था. ये बैन लद्दाख क्षेत्र में चीन के साथ वास्तविक नियंत्रण रेखा पर तनाव के बीच लगाए गए हैं.
साभार-न्यूज़ 18