शुक्रवार को राजस्थान में चार हेलिना एंटी टैंक मिसाइल एडवांस्ड लाइट हेलिकॉप्टर ध्रुव हेलीकॉप्टर से सफलतापूर्वक लॉन्च किए गए. इसे भारत की रक्षा ताकत के हिसाब से बेहद महत्वपूर्ण समझा जा रहा है.
रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन के अनुसार, न्यूनतम और अधिकतम 7 किलोमीटर की रेंज में मिसाइल क्षमताओं के मूल्यांकन के लिए चार मिशन को अंजाम दिया गया.
आखिरी मिशन युद्धक मिसाइल के साथ एक पुराने टैंक के खिलाफ था. सभी मिशन के उद्देश्यों को पूरा कर लिया गया. हेलिना टैंक रोधी मिसाइलों का परीक्षण भारतीय सेना और भारतीय वायु सेना के संयुक्त इस्तेमाल परीक्षणों के दौरान किया गया.
DRDO ने किया ट्वीट
DRDO ने ट्वीट कर कहा, ‘हेलिना (आर्मी वर्जन) और ध्रुवस्त्र (एयरफोर्स वर्जन) के लिए ज्वाइंट यूजर ट्रायल्स रेगिस्तानी रेंज में एडवांस्ड लाइट हेलिकॉप्टर (ALH) प्लेटफॉर्म से रेगिस्तानी रेंज में किया गया.’
HELINA तीसरी पीढ़ी का एंटी टैंक मिसाइल है. यह 7 किमी से अधिक दूरी तक अपने लक्ष्य को भेदने में सक्षम है. आठ हेलिना मिसाइलों को ALH-WSI (रुद्र) पर एकीकृत किया जा सकता है. यह दिन हो या रात, किसी भी वक्त अपने कार्य को अंजाम देने में सक्षम है. यह परंपरागत हथियारों के साथ-साथ विस्फोटक रिएक्टिव हथियारों के साथ भी युद्धक टैंकों के नष्ट कर सकता है.
हेलीना वेपन सिस्टम के एक संस्करण ध्रुवस्त्र को भारतीय वायुसेना में शामिल किया गया है. इससे पहले, इमेजिंग इंफ्रा-रेड (IIR) सीकर सिस्टम्स का सफल परीक्षण एंटी-टैंक गाइडेड मिसाइल नाग, हेलिना और MPATGM में सफलतापूर्वक किया गया था.