राजस्थान के अलवर से एक बड़ी खबर सामने आई यहां शिव मंदिर पर बुलडोजर चलाया गया. इस मामले को लेकर पब्लिक का गुस्सा फूटा है और लोग अपना आक्रोश गहलोत सरकार पर निकाल रहे हैं वहीं बीजेपी ने गहलोत की कांग्रेस सरकार पर निशाना साधा है.
बीजेपी ने कहा है कि विकास के नाम पर अलवर में शिव मंदिर तोड़ रहे हैं गहलोत, जिस मंदिर को तोड़ा गया है वो 300 साल पुराना मंदिर बताया जा रहा है.
अलवर में 300 साल पुराने शिव मंदिर को बुलडोजर से तोड़ दिया गया और इस पूरे मामले में अब सियासत तेज होती नजर आ रही है. बीजेपी ने अशोक गहलोत सरकार पर हिंदुओ की आस्था को ठेस पहुंचाने का आरोप लगाया तो वहीं कांग्रेस ने कहा कि मंदिर को विकास के लिए हटना जरूरी था. क्या ये कांग्रेस की हिन्दू विरोधी मानसिकता को दर्शाता है?
बताया जा रहा है कि शिकायतकर्ता ने अपनी शिकायत में कहा है, ‘राजगढ़ में 17 अप्रैल को एक साजिश के तहत हिंदू धर्म की आस्था के प्रतीक ढ़ाई सौ- तीन सौ साल पुराने तीन मंदिरों को ध्वस्त कर दिया गया, उनकी बेकद्री कर दी, हमारे भगवानों की मूर्तियों को खंडित कर दिया, गुंबदों को नीचे गिरा दिया गया. जूतों से, चप्पलों से शिवालय में चढ़ गए…
ये पहला मामला नहीं है इससे पहले भी राज्य में ऐसा हो चुका है, कुछ दिन पहले गहलोत सरकार ने सुजानगढ़ स्थित रामदरबार पर बुलडोजर चला दिया था जिसका वीडियो वायरल हो गया था, जिसके बाद इसे लेकर खासा बवाल हुआ था, और बीजेपी ने इस मुद्दे को लेकर तीखा हमला करते हुए विधानसभा में तक मुद्दा उठाया था और इसके बाद गहलोत सरकार को इस मुद्दे पर अपने कदम वापस लेने पड़े थे और प्रवेश द्वार की नींव भरकर पुनः राम दरबार स्थापित करने की प्रक्रिया शुरू की गई थी.
सीकर सांसद स्वामी सुमेधनंद की अध्यक्षता में कमेटी की गठित कमेटी 3 दिन में राजगढ़ का दौरा कर सौपेगी प्रदेश अध्यक्ष सतीश पुनिया को रिपोर्ट कमेटी में mla चंद्रकांता मेघवाल, राजेंद्र सिंह शेखावत,ब्रज किशोर उपाध्याय और भवानी मीणा भी शामिल हैं.