कुंभ क्षेत्र में सरकारी भवनों समेत पुल, मंदिर, मठ, घाट आदि की दीवारों को धार्मिक मान्यताओं और संस्कृति के रंग बिखेरते चित्रों से सजाया गया है। इसके लिए हरिद्वार-रुड़की विकास प्राधिकरण की ओर से ‘पेंट माई सिटी’ अभियान चलाया गया। जिससे धर्म नगरी की फिजा ही बदल गई है।
इसी के तहत खास तौर पर रामपथ भी तैयार किया गया है। इस पथ पर रामायण से जुड़े प्रसंगों को चित्रों के माध्यम से दिखाया गया है। इसका मकसद चित्रों के माध्यम से रामायण का संदेश देना है।
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत का कहना है कि राज्य सरकार दिव्य और भव्य कुंभ मेले के लिए प्रतिबद्ध है। प्रयास किए जा रहे हैं कि कुंभ में हरिद्वार आने वाले करोड़ों श्रद्धालु उत्तराखण्ड की लोक सांस्कृतिक विरासत से भी रूबरू हो सकें।
देवभूमि की सांस्कृतिक विरासत के संरक्षण और संवर्धन के लिए सरकार गंभीरता से प्रयास कर रही है। हरिद्वार कुंभ-2021 को इसके लिए मुफीद मौका माना जा रहा है। इसके लिए चित्रकला को जरिया बनाया गया है।
दीवारों व खाली स्थानों पर उकेरी गई कलाकृतियों के ये रंग देखने लायक हैं।
कहीं देवी-देवताओं और धार्मिक परंपराओं के तो कहीं लोक संस्कृति के चित्र सजीवता लिए हुए हैं। कैबिनेट मंत्री मदन कौशिक ने बताया कि कुंभ मेला क्षेत्र को चित्रकला से सजाने में विभिन्न संस्थाओं का सहयोग रहा है। कुंभ की तैयारी तेजी से हो रही है। इस बार भी कुंभ दिव्य और भव्य ही होगा।