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नहीं सुधरा चीन..फिर से LAC पर तैनात की मिसाइलें, भारत रख रहा पैनी नजर

Uttarakhand Samachar

भारत पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) के पास जमीन से हवा में मार करने वाली चीनी मिसाइल बैटरी की तैनाती को लेकर चौकन्ना है। भारतीय सुरक्षा एजेंसियां मिसाइल बैटरी की हरकत पर पैनी नजर रख रही हैं। शीर्ष सरकारी सूत्रों ने सोमवार को यह जानकारी दी।

सूत्रों के मुताबिक पूर्वी लद्दाख में जारी तनाव के मद्देनजर चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) ने एलएसी पर भारतीय सीमा के पास ‘एचक्यू-9’ और ‘एचक्यू-22’ सहित अन्य मिसाइलों की तैनाती बरकरार रखी है।

‘एचक्यू-9’ रूस की ‘एस-300’ वायु रक्षा मिसाइल प्रणाली से मिलती-जुलती मिसाइल है, जो 250 किलोमीटर के दायरे में मौजूद लक्ष्यों की पहचान कर उन्हें नष्ट करने में सक्षम है। सूत्रों ने कहा, ‘हम एलएसी पर चीन की ओर से वायु रक्षा मिसाइल प्रणाली सहित अन्य हथियारों की तैनाती पर करीबी नजर रख रहे हैं।

हालिया रिपोर्ट से पता चला है कि होतान और काशगर हवाई क्षेत्र में लड़ाकू विमानों की मौजूदगी घटी है। हालांकि, इनकी संख्या में समय-समय पर बदलाव आता रहता है।’

पीछे हटने में आनाकानी कर रहा बीजिंग
भारत और चीन की सेनाएं लद्दाख के पैंगोंग झील इलाके से पीछे हट चुकी हैं, लेकिन बीजिंग तनाव वाले अन्य क्षेत्रों, मसलन-गोगरा, हॉट स्प्रिंग, डेपसांग घाटी और डेमचोक के पास सीएनएन जंक्शन से सैन्य वापसी में आनाकानी कर रहा है। सूत्रों के मुताबिक भारतीय पक्ष ने स्पष्ट कर दिया है कि वह तनाव वाले क्षेत्रों से सेना हटाने पर तभी विचार करेगा, जब चीन इस दिशा में कोई कदम उठाता है।

भारत ने कई इलाकों में सैन्य मौजूदगी बढ़ाई
लद्दाख के शुगर सेक्टर, सेंट्रल सेक्टर और पूर्वोत्तर सीमा पर भारत ने सैनिकों की तैनाती बढ़ाते हुए अपनी सैन्य उपस्थिति मजबूत की है। पैंगोंग त्सो के दक्षिणी तट पर भारतीय सामरिक अभियानों के कारण भारतीय सेना फिंगर एरिया से सेना हटाने में कामयाब रही है। सीमा के पास वाले क्षेत्र में टकराव के अन्य बिंदुओं से सैनिकों को पीछे हटाने के लिए मुद्दे पर भारत और चीन में बातचीत जारी है।

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