पीडीपी की नेता और जम्मू कश्मीर के पूर्व मंत्री महबूबा मुफ्ती की रिहाई के बाद अलगाववाद एक बार फिर सक्रिय हो गया है .
‘मोदी सरकार से निपटने के लिए नेशनल कॉन्फ्रेंस नेता फारूक अब्दुल्ला और अब्दुल्ला ने घाटी के भाजपा विरोधी सभी राजनीति लोगों को एक मंच पर ला दिया है’ .
गुरुवार को फारूक अब्दुल्ला ने अपने गुपकार आवास पर भाजपा विरोधी अन्य पार्टियों के नेताओं की महत्वपूर्ण बैठक बुलाई. जिसमें जम्मू-कश्मीर के राजनीतिक दल ‘गुपकार समझौते’ पर चर्चा की . इसमें नेशनल कॉन्फ्रेंस, पीडीपी समेत अन्य पार्टियों के नेता शामिल रहे .
गुपकार बैठक में फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि हम मोदी सरकार से राज्य के लोगों का अधिकार वापस मांगते हैं. बता दें कि जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 हटने और नेताओं की रिहाई के बाद ये पहली बड़ी बैठक हुई .
जिसमें सभी नेताओं ने अनुच्छेद 370 हटाने को गलत ठहराया और वापस इसे लागू करने की मांग की है . उमर अब्दुल्ला ने कहा कि हम जम्मू कश्मीर में 370 फिर वापस लाएंगे.
अब्दुल्ला ने कहा घाटी को आजाद कराने के लिए हमारा संघर्ष जारी रहेगा, उन्होंने कहा कि हमारी लड़ाई सुप्रीम कोर्ट में है. उमर अब्दुल्ला ने कहा कि कोई भी सरकार हमेशा के लिए नहीं रहती. हम इंतजार करेंगे, हार नहीं मानेंगे.
आपको बता दें कि ‘महबूबा मुफ्ती ने अपनी रिहाई के बाद कहा था कि दिल्ली ने हमसे छीना है वो हम वापस लेंगे और काले दिन के काले इतिहास को मिटाएंगे’।
इसके अलावा फारूक अब्दुल्ला ने भी बीते दिन कहा था कि चीन अनुच्छेद 370 वापस दिलाने में उनकी मदद कर सकता है. जिसमें भाजपा सरकार ने बहुत ही सख्त ऐतराज भी जताया था .