जम्मू-कश्मीर| घाटी में आतंकियों के एक खतरनाक मंसूबों पर पानी फेरते हुए सुरक्षाबलों ने जम्मू-कश्मीर पुलिस के साथ मिलकर एक वांटेड आतंकी को गिरफ्तार किया है. आतंकी पहले कश्मीर में ही सरकारी नौकरी करता था. वह पेशे से एक सरकारी शिक्षक था. इसी दौरान वो आतंकियों के संपर्क में आया और लश्कर से जा मिला.
कश्मीर के रियासी जिले का निवासी आरिफ जम्मू के नरवाल इलाके में हुए दोहरे विस्फोटों का भी जिम्मेदार है. इस हमले में नौ लोग घायल हो गए थे. जम्मू-कश्मीर पुलिस के महानिदेशक दिलबाग सिंह ने कहा कि आरिफ का आतंकवादी संगठन लश्कर-ए-तैयबा से संबंध है.
पुलिस ने बताया कि आरिफ के पास से एक परफ्यूम की बोतल में रखा हुआ आईईडी बरामद किया गया. जम्मू-कश्मीर पुलिस प्रमुख ने कहा कि यह पहली बार है जब कश्मीर में इस तरह का बम बरामद किया गया है. इससे पहले ऐसा बम नहीं देखा गया था.
उन्होंने कहा- “यह पहली बार है जब हमने एक परफ्यूम आईईडी बरामद किया है. हमने इससे पहले कोई परफ्यूम आईईडी बरामद नहीं किया है. अगर कोई इसे दबाने या खोलने की कोशिश करेगा तो आईईडी विस्फोट हो जाएगा.”
पुलिस की मानें तो आरिफ अपने पाकिस्तानी आकाओं के इशारे पर काम करता था. वहां बैठे लश्कर के सरगना जो उसे आदेश देते, उस हमले को अंजाम आरिफ देता था. आरिफ ने वैष्णो देवी तीर्थयात्रियों को ले जा रही बस पर बमबारी में शामिल होने की बात को स्वीकार भी किया है. उस हमले में चार लोग मारे गए थे और 24 घायल हो गए थे.