भारत का तीसरा चंद्र मिशन चंद्रयान-3 चांद की यात्रा पर है. आज का दिन इस मिशन के लिए खास है. भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) आज यानी बुधवार को दोपहर 1 से 2 बजे के बीच चंद्रयान-3 की दूसरी बार ऑर्बिट घटाएगा. बता दें कि इससे पहले 6 अगस्त को रात करीब 11 बजे पहली बार चंद्रयान की ऑर्बिट घटाई गई थी.
फिलहाल चंद्रयान-3 चंद्रमा की 170 किमी. x 4313 किमी. की ऑर्बिट में चक्कर काट रहा है. इसका मतलब यह है कि यह ऐसी अंडाकार कक्षा में घूम रहा है जिसमें उसकी चांद से सबसे कम दूरी 170 किमी. और सबसे ज्यादा दूरी 4313 किमी. है. 22 दिनों तक पृथ्वी के ऑर्बिट में घूमने के बाद चंद्रयान 3 ने 5 अगस्त को शाम करीब 7:15 बजे चंद्रमा की कक्षा में प्रवेश किया था.
मिशन की जानकारी देते हुए X पर इसरो ने पोस्ट किया, ‘ऑर्बिट को और कम करने का अगला ऑपरेशन 9 अगस्त, 2023 को 13:00 से 14:00 बजे के बीच निर्धारित है.’ वहीं एक दूसरी पोस्ट में इसरो ने लिखा, ‘मैं चंद्रयान-3 हूं… मुझे चांद की ग्रैविटी महसूस हो रही है.’ इसरो ने अपनी इस पोस्ट में यह भी बाताया था कि चंद्रयान-3 सफलतापूर्वक चंद्रमा की कक्षा में स्थापित हो गया है.
इससे पहले इसरो के अध्यक्ष एस. सोमनाथ ने मंगलवार को कहा, ‘अगर सब कुछ विफल हो जाता है, अगर सभी सेंसर नाकाम हो जाते हैं, कुछ भी काम नहीं करता है, फिर भी यह (विक्रम) लैंडिंग करेगा. इसे इसी तरह डिजाइन किया गया है – बशर्ते कि प्रणोदन प्रणाली अच्छी तरह से काम करे.’
बता दें कि चंद्रयान-3 अंतरिक्ष में 14 जुलाई को प्रक्षेपित हुआ और यह पांच अगस्त को चंद्रमा की कक्षा में प्रवेश कर गया. इसे चंद्रमा के करीब लाने के लिए तीन और डी-ऑर्बिटिंग कवायद होगी ताकि विक्रम 23 अगस्त को चंद्रमा की सतह पर उतर सके. सोमनाथ ने कहा कि ये डी-ऑर्बिटिंग की प्रक्रिया नौ अगस्त, 14 अगस्त और 16 अगस्त को होगी.